हरियाणा के कुलदीप बूरा सब्जियों का उत्पादन करके अच्छा-खासा मुनाफा उठा रहे हैं

आज हम आपको एक ऐसे किसान के बारे में बताने जा रहे हैं। जिसने बिजली फिटिंग और रिपेरिंग का काम छोड़कर खेती की तरफ रुख किया है। किसान कुलदीप बूरा हिसार जनपद में मौजूद घिराए गांव के निवासी हैं। पूर्व में वह बिजली फिटिंग और रिपेरिंग का काम करते थे। लेकिन इससे उनको कोई खास अच्छी आय नहीं हो रही थी। हरियाणा एक कृषि प्रधान राज्य है। लोगों का मानना है, कि हरियाणा के किसान गो-पालन सहित चना, धान, गेहूं और सरसों समेत सिर्फ पारंपरिक फसलों की ही खेती करते हैं। हालाँकि, ऐसा कुछ नहीं है, यहां के किसान भी अन्य राज्यों की भांति फल- सब्जियों का बेहतर उत्पादन कर रहे हैं। यहां के कृषकों द्वारा उगाई गईं सब्जियों की आपूर्ति अन्य राज्यों में भी होती है। यही कारण है, कि यहां के किसान सब्जी की खेती आधुनिक ढंग से कर रहे हैं। यहां के एक किसान हैं कुलदीप बूरा, जो सब्जी की खेती से वर्ष में लाखों रुपये की आमदनी कर रहे हैं। फिलहाल, यह अन्य किसानों के लिए एक प्रेरणा बन गए हैं। अन्य किसान इनसे सब्जी की खेती करने के गुर सीखने आ रहे हैं।

 

कुलदीप बूरा कहाँ के रहने वाले हैं

किसान तक की खबरों के अनुसार, कुलदीप बूरा हिसार जनपद के अंतर्गत आने वाले घिराए गांव के रहने वाले हैं। पहले वह बिजली फिटिंग एवं रिपेरिंग का कार्य करते थे। परंतु, इससे उन्हें बेहतरीन आमदनी नहीं हो रही थी। ऐसी स्थिति में उन्हें खेती करने का विचार आया। दोस्तों द्वारा दी गई सलाह पर पहले उन्होंने एक एकड़ में हरी सब्जी एवं फलों की खेती शुरू की थी। इससे उनको अच्छी आमदनी भी अर्जित हुई थी। इसके उपरांत वह आहिस्ते-आहिस्ते खेती का क्षेत्रफल बढ़ाते गए। फिलहाल, कुलदीप बूरा ने 16 एकड़ भूमि पर तरबूज, ककड़ी और खीरा समेत विभिन्न प्रकार की सब्जियों की खेती कर रखी है। जिससे उनको वर्षभर में 25 से 30 लाख की आमदनी हो रही है।

 

कुलदीप बूरा ने सब्जी की खेती कब से कर रहे हैं

कुलदीप बूरा का कहना है, कि वह सन 2102 से सब्जी की खेती कर रहे हैं। कुलदीप बूरा ने कई सारे लोगों को नियमित तौर पर रोजगार भी प्रदान कर रखा है। उनके खेत में लगभग 22 महिलाएं कार्य करती हैं। ऐसी स्थिति में हम कह सकते हैं, कि कुलदीप बूरा के अथक परिश्रम की बदौलत केवल उनके घर का ही चूल्हा नहीं जल रहा है, बल्कि 22 अन्य लोगों का जीवन यापन भी चल रहा है। साथ ही, कुलदीप की बेटी मंजू सारी खेती का हिसाब करती है। लेन- देन का पूरा ब्यौरा मंजू ही संभालती है। वहीं, उनका बेटा मुनीश पढ़ाई करता है, बचे हुए समय में खेत पर आकर पिता की सहायता भी करता है। 

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कुलदीप बूरा ने नेट हाउस में खेती करनी कब शुरू की

विशेष बात यह है, कि कुलदीप बूरा वैज्ञानिक विधि से खेती किया करते हैं। साल 2014 में ही उन्होंने नेट हाउस में खेती करना शुरू कर दिया था। इसके लिए उन्हें हरियाणा सरकार की तरफ से अनुदान मिला था। उनका यह भी कहना है, कि नेट हाउस में खेती करने पर अच्छा उत्पादन मिलता है। हालांकि, कई बार कुलदीप बूरा को मौसम की मार भी झेलनी पड़ती है। इससे उनको आर्थिक हानि का भी सामना पड़ता है।